हरिद्वार जिला समाज कल्याण कार्यालय का बड़ा कारनामा बेल्डा के 362 ग्रामीणों को बिना फार्म दस्तावेजों के दी जा रही हैं वृद्धा विकलांग पेंशन आरटीआई मांगने पर पूरे मामले का हुआ खुलासा
जिम्मेदार कौन क्या है फर्जी पेंशन आरटीआई कार्यकर्ता ने जिला अधिकारी को एक प्रार्थना पत्र लिखकर पुरे मामले की शिकायत
आपको बता दे की गांव बेल्डा के ग्रामीण एवं एक अधिवक्ता ने बेल्डा गांव बाजूहेडी नागलखुर्द मोहम्मदपुर पांडा मेवाड़ कला खुर्द आदि गांव की शिकायत जिला समाज कल्याण अधिकारी सहित उच्च अधिकारियों को की थी जिस पर जिला समाज कल्याण अधिकारी द्वारा एक तीन सदस्य टीम गठित कर जांच करने के आदेश दिए गए थे लेकिन करीब 4 महीने बीत जाने के बाद भी जांच पूरी नहीं हो पाई वही शिकायतकर्ता के द्वारा वृद्धा एवं विकलांग पेंशन ले रहे पेंशन धारकों के सभी प्रमाणित दस्तावेज सूचना के अधिकार में मांगे थे लेकिन करीब 362 फॉर्म जिला समाज कल्याण अधिकारी ऑफिस से गायब मिले यह पूरा मामला जब सामने आया जब शिकायत करता ने सूचना के अधिकार मांगा तो जिला समाज कल्याण अधिकारी के द्वारा सूचना के अधिकार में यह कहते हुए की एक पत्र प्रार्थना पत्र जारी किया जिस पर लिखा हुआ है कि कार्यालय में ग्राम बेल्डा के विकलांग एवं वृद्धा पेंशन के करीब 362 फॉर्म मौके पर मौजूद नहीं है वही शिकायतकर्ता का कहना है कि जब कार्यालय के अंदर पेंशन धारकों के दस्तावेज ही मौजूद नहीं है तो आखिरकार उनकी पेंशन किस आधार पर बनी यह एक बड़ा सवाल है और जिस पर अधिकारी अपनी चुप्पी सादे हुए हैं वही शिकायत करता का यह भी कहना है जो विकलांग एवं वृद्धा पेंशन के कुछ फॉर्म सूचना के अधिकार में हमें प्राप्त हुए है हमारे द्वारा जब उन फर्म को चेक किया गया तो उन फर्म में करीब 250 लोग वृद्ध एवं विकलांग पेंशन फर्जी तरीके से प्राप्त कर रहे हैं इसके कुछ पर्याप्त सबूत हमारे द्वारा जांच करने वाली टीम सहित जिला समाज कल्याण अधिकारी को भी सौंप गए हैं शिकायत करता का यह भी कहना है कि अगर 10 दिन के अंदर अधिकारियों ने अपनी जांच रिपोर्ट निष्पक्ष तरीके से जांच कर कर फर्जी तरीके से विकलांग एवं वृद्धा पेंशन लेने वालों के खिलाफ कार्रवाई नहीं की गई तो सभी अधिकारियों के खिलाफ पर्याप्त सबूत के साथ माननीय उच्च न्यायालय का दरवाजा खटखटाया जाएगा

